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CAG रिपोर्ट केजरीवाल की ईमानदारी के दावे को उजागर करेगी : दिल्ली कांग्रेस

एक तरफ दिल्ली सरकार को CAG की 12 रिपोर्ट LG को भेजने और उसे विधानसभा में पेश करने का निर्देश देने की मांग वाली दिल्ली के BJP सांसदों की याचिका का दिल्ली हाईकोर्ट ने निपटारा कर दिया। तो दूसरी तरफ
दिल्ली सरकार ने अदालत को बताया किया कि CAG रिपोर्ट LG को भेजी जा चुकी है। इसके बाद उन्होंने इसे दिल्ली विधानसभा में पेश करने के लिए अपनी सहमति भी दे दी है।
दिल्ली सरकार ने हाईकोर्ट को बताया कि एलजी ने रिपोर्ट पेश करने के लिए विधानसभा का विशेष सत्र बुलाने का निर्देश भी दिया है।
दिल्ली सरकार ने बताया कि रिपोर्ट दो से तीन दिन में विधानसभा स्पीकर को भेज दी जाएगी।

उपराज्यपाल 14 केग रिपोर्ट को सदन पटल पर रखने के लिए लिख पत्र स्वागत योग्य- दिल्ली कांग्रेस हर विधानसभा सत्र में केग रिपोर्ट को पटल पर रखने की मांग करती आई है। – देवेन्द्र यादव

’कट्टर ईमानदार’ केजरीवाल को सदन में 14 लंबित सीएजी रिपोर्ट पेश करने के उपराज्यपाल के नए निर्देश का पालन करे, यह केजरीवाल की ईमानदारी के दावे को उजागर करेगा। -देवेन्द्र यादव

– दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष देवेन्द्र यादव ने दिल्ली के माननीय उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना द्वारा 14 लंबित केग रिपोटों को दिल्ली विधानसभा के पटल पर रखने के संबध में बिना समय खराब किए तुरंत विशेष सत्र बुलाने के लिए मुख्यमंत्री आतिशी को संवैधानिक अधिकार के तहत लिखे पत्र का स्वागत किया और कहा कि दिल्ली कांग्रेस शुरु हर बार विधानसभा सत्र में केग रिपोर्ट को पटल पर रखने की मांग करती रही है।

यादव ने कहा कि दिल्ली सरकार के 14 विभागों की केग रिपोर्ट में शराब घोटाले से संबधित रिपोर्ट है, जिनके विधानसभा के पटल पर आने से अरविन्द केजरीवाल के मुख्यमंत्रीत्व के दौरान दिल्ली सरकार में हुए भ्रष्टाचार और कुशासन की रिपोर्ट दिल्लीवालों के समक्ष सार्वजनिक होगी। देवेन्द्र यादव ने कहा कि अपने भ्रष्टाचार और कुशासन को छिपाने के लिए सभी 14 “सीएजी रिपोर्टों को विधानसभा के समक्ष तुरंत न रखकर, सरकार अपने संवैधानिक दायित्व का निर्वहन करने में विफल रही है और विधान सभा के सदस्यों को कार्यपालिका पर विधायी नियंत्रण रखने के अपने मूल कर्तव्य के निर्वहन से वंचित कर दिया है।“

देवेन्द्र यादव ने कहा कि सभी 14 रिपोर्टें जिनमें “दिल्ली में शराब के विनियमन और आपूर्ति पर प्रदर्शन ऑडिट“, दिल्ली में वाहन वायु प्रदूषण की रोकथाम और शमन पर प्रदर्शन ऑडिट“, “सार्वजनिक स्वास्थ्य अवसंरचना और स्वास्थ्य सेवाओं का प्रबंधन“, “कार्यप्रणाली पर प्रदर्शन ऑडिट रिपोर्ट“ अरविन्द केजरीवाल के मुख्यमंत्री के समय की है और दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी)“, सरकार के राजस्व, व्यय और वित्तीय लेखा परीक्षा आदि केग रिपोर्ट पेंडिंग है, जो जनता के सामने आनी चाहिए है। जबकि कटटर ईमानदार अरविन्द केजरीवाल ने वर्तमान और पिछले सत्रों में व्यर्थ के मुद्दों पर चर्चा करके 14 विभागों की केग रिपोर्ट को सदन के पटल तक न पहुॅचने के लिए विधानसभा अध्यक्ष पर भी दवाब बनाया गया, और केजरीवाल की निरकुंशता के कारण राम निवास गोयल को राजनीति से ही सन्यास लेना पड़ा।

देवेन्द्र यादव ने कहा कि जब उपराज्यपाल सभी 14 रिपोर्टों को पेश करने हेतू अपनी हस्ताक्षरित औपचारिक सहमति दे दी है, तब आम आदमी पार्टी को अपने भ्रष्टाचार का पिटारा के सामने रखकर जनता के समक्ष नैतिकता दिखाए। उन्होंने कहा कि यह रिपोर्ट शासन में पारदर्शिता की कसौटी है क्योंकि “लोकतांत्रिक व्यवस्था में सरकार के वित्तीय और प्रशासनिक स्वास्थ्य का आंकलन करने के लिए सीएजी रिपोर्ट महत्वपूर्ण होती हैं और सरकार संवैधानिक आदेश का पालन करके लोकतांत्रिक प्रक्रिया के तहत निर्णय लेना अनिवार्य है।

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