दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) के विज्ञापन विभाग में इन दिनों इंस्पेक्टर राज का जबरदस्त बोलबाला है। आज सिविल लाइंस जोन, केशवपुरम जोन, नजफगढ़ जोन, नरेला जोन और रोहिणी जोन में बड़े-बड़े अवैध विज्ञापन आसानी से देखे जा सकते हैं।

दिल्ली विधानसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने से पहले, विज्ञापन विभाग ने यूनिपोल के लिए नए टेंडर जारी किए हैं। इस कारण कई स्थानों पर, दूरी नियमों का उल्लंघन करते हुए, बड़े अवैध विज्ञापन लगे हुए हैं। यहाँ तक कि सरकारी विभागों द्वारा लगाए गए प्रचार सामग्री के सामने भी अवैध यूनिपोल खड़े कर दिए गए हैं।

इसके अलावा, यूनिपोल लगाते समय सड़क परिवहन और राष्ट्रीय राजमार्ग मंत्रालय के निर्देशों की अनदेखी की जा रही है, और सुरक्षा नियमों का भी जबरदस्त उल्लंघन हो रहा है।

कई जगहों पर यूनिपोल बिजली के तारों से इतने सटे हुए हैं कि मानसून के दौरान ये जानलेवा साबित हो सकते हैं। ऐसा प्रतीत होता है कि इस समय एमसीडी के विज्ञापन विभाग में कोई भी जवाबदार व्यक्ति नहीं है जो इस स्थिति को सुधार सके।

कभी मोहित बंसल ने विज्ञापन विभाग के उपायुक्त का पदभार संभाला था, तब उन्होंने अवैध विज्ञापनों के खिलाफ एक बड़ी कार्रवाई की थी। पहाड़गंज पुलिस स्टेशन से लेकर नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के बीच लगे अवैध विज्ञापनों को हटाया गया था। उस समय ऐसा लग रहा था कि अवैध विज्ञापनों और डिजिटल प्रचार सामग्री पर सख्त प्रतिबंध लगाया जाएगा। लेकिन, यह अभियान जल्द ही धीमा पड़ गया और अब तो यह लगभग रुक ही गया है।