क्या आप जानते हैं एशिया के सबसे बड़ा सिंगल स्टेज वेस्ट वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट (WWTP ) कहीं और नहीं बल्कि दिल्ली के ओखला में है।
वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट की खूबी है दिल्ली में लगभग— जिसमें पुरानी दिल्ली, सेंट्रल दिल्ली, NDMC क्षेत्र और दक्षिणी दिल्ली की करीब 40 लाख आबादी को लाभ पहुंचा रहा है। ट्रीटेड जल को पुरानी आगरा नहर में छोड़ा जा रहा है, जबकि जल्द ही यह जल अबुल फज़ल ड्रेन के माध्यम से ओखला बैराज के डाउनस्ट्रीम में यमुना नदी में छोड़ा जाएगा।
क्या है इस प्लांट की खूबियां
अत्याधुनिक तकनीकों से लैस 564 MLD क्षमता वाला संयंत्र से अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार जल शुद्धिकरण कर रहा है। संयंत्र में उन्नत ASP प्रक्रिया, टर्शियरी डिस्क फिल्टर्स और UV सिस्टम का उपयोग कर जल को ट्रीट, पॉलिश और कीटाणुरहित किया जाता है, जिससे यह प्रदूषण मुक्त और उच्च गुणवत्ता (BOD 10 और TSS 10 या उससे बेहतर) का बनता है। संयंत्र पूरी तरह स्वचालित है और SCADA सिस्टम के माध्यम से निगरानी और संचालन की सुविधा भी मौजूद है। जून 2024 से हर रोज़ 40 MLD शुद्ध जल दिल्ली के कई इलाकों में बागवानी (Horticulture) में इस्तेमाल हो रहा।
प्लांट से 4.8 मेगावाट की हरित ऊर्जा (Green Energy) स्लज बायोगैस से पैदा की जा रही है, जो संयंत्र की कुल ऊर्जा आवश्यकताओं का लगभग 50% पूर्ति करती है। इससे मिलने वाली CLASS-A गुणवत्ता की गंधहीन, रोगाणु मुक्त स्लज को जैविक खाद या मिट्टी सुधारक के रूप में सुरक्षित रूप से प्रयोग में लाया जा सकता है। यह भारत का पहला संयंत्र है जो CLASS-A स्लज का उत्पादन कर रहा है।

यमुना में प्रदूषण की रोकथाम में बड़ा योगदान
यह प्लांट ओखला में लगभग 30 MGD अतिरिक्त ट्रीटमेंट क्षमता जोड़ता है। बारापुला ड्रेन और महारानी बाग ड्रेन से आने वाले लगभग 35 MGD सीवेज को अब इस संयंत्र में ट्रीट कर यमुना में छोड़ा जाएगा, जिससे नदी में जाने वाला अशोधित सीवेज काफी हद तक कम होगा।
ओखला स्थित एशिया के सबसे बड़े सिंगल स्टेज वेस्ट वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट (WWTP ) का निरीक्षण के बाद PWD मंत्री प्रवेश वर्मा ने कहा कि “जलशोधन की अत्याधुनिक व्यवस्था के माध्यम से हम यमुना को स्वच्छ बनाने और दिल्ली की नालियों को सीवर मुक्त करने की दिशा में ठोस और निर्णायक कदम उठा रहे हैं।”